करनाल – थाना असंध में गुरलाल ने अपने भाई के गुम होने की शिकायत दी ,जिस पर पुलिस द्वारा मुकदमा नं0-655/02.08.18 धारा 346 भा.द.स. के तहत दर्ज कर किया गया। कुछ दिन बाद पुलिस अधीक्षक सुरेन्द्र सिंह भौरिया द्वारा गुरदेव के परिजनों के आग्रह पर इस मामले की जांच की जिम्मेवारी करनाल पुलिस की क्राइम युनिट सी.आई.ए-2 के इन्चार्ज निरीक्षक मनोज कुमार को सौंप दी गई। जिन्होंने ए.एस.आई. मनोज कुमार की अध्यक्षता में एक टीम का गठन कर मामले की जांच शुरू की। मनोज कुमार ने मामले के हर पहलू की गहनता से जांच की, उन्होंने हर छोटे-बड़े साक्ष्यों को एक-दूसरे से जोड़ा तो उनके शक की सुई हर बार पैट्रोल पंप के आसपास आकर रूकती थी। जिसके आधार पर पैट्रोल पंप के मालिक वजीर सिंह पुत्र मंगत राम वासी गांव दरियापूर थाना मतलौडा से पूछताछ की गई, जिससे पुलिस के शक की सुई उस पर ओर भी गहरा गई। इसी आधार पर पुलिस टीम द्वारा दिनांक 25.11.18 को आरोपी वजीर को उसके पैट्ोल पंप से गिरफतार कर सख्ती से पूछताछ की, तो उसने बताया कि दिनांक 01.08.18 को दोपहर के समय गुरदेव उसके पास आया था। जिसकी मोटर साईकिल को हमने पंप पर खड़ा कर दिया और वह उसे अपने साथ अपनी गाड़ी में स्मैक लाने के पानीपत ले गया। वहां पर दोनों ने आवश्यकता से अधिक स्मैक पी ली और उनके बीच में झगड़ा हो गया, इस झगड़े के बीच उसने अपना परना गुरदेव के गले में डालकर उसका गला घोंट दिया। जब वह मर गया तो उसके शव को खुर्दबुर्द करने के इरादे से मैने कैराना रोड़ पानीपत पर यमुना नदी के तेज बहाव में उसका शव यमुना में फेंक दिया और वहां से भाग निकला।
पुलिस टीम द्वारा आज आरोपी को कोर्ट पेशकर 04 दिन का पुलिस रिमांड हासिल किया गया, दौराने रिमांड आरोपी के बताए अनुसार घटना स्थल की निशानदेही की जाएगी व वारदात में प्रयोग की गई गाड़ी बरामद की जाएगी और उससे गहनता से पूछताछ की जाएगी कि इसमें उसके साथ ओर कौन-कौन शामिल था। पुलिस टीम द्वारा मामले में हत्या की धाराओं को शामिल कर लिया गया है।