करनाल- हरियाणा पुलिस अकादमी मधुबन के सरदार पटेल हॉल में ‘साइबर अपराध जांच और साइबर फोरेंसिंक’ विषय पर लोक अभियोजकों व न्यायिक अधिकारियों के लिए बुधवार को तीन दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आरंभ हुआ। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में हरियाणा व पंजाब राज्य के 18 लोक अभियोजक व न्यायिक अधिकारी भाग ले रहे हैं। कार्यक्रम के शुभारंभ अवसर पर हरियाणा पुलिस अकादमी की पुलिस महानिरीक्षक डॉ राजश्री सिंह मुख्य अतिथि रहीं। कार्यक्रम के दौरान अकादमी के निदेशक डॉ सीएस राव ने भी प्रतिभागियों से बातचीत की।
डॉ राजश्री सिंह ने प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए कहा कि सोशल मीडिया का इस्तेमाल सावधानी के साथ करना चाहिए। उन्होंने कहा की अपनी निजी तस्वीरें सोशल मीडिया पर ना डालें, इनका कोई भी अपराधी गलत इस्तेमाल कर सकता है। उन्होंने कहा कि महिलाओं व बच्चों के खिलाफ अपराध में साइबर फोरेंसिक की भूमिका अति महत्वपूर्ण है। साइबर उत्पीडऩ सबसे अधिक महिलाओं व बच्चों के साथ हो रहा है। उन्होंने कहा कि साइबर अपराध को रोकने के लिए साइबर सुरक्षा का उपयोग करना जरूरी है। हमें स्वयं व अपने बच्चों व परिवार के सदस्यों को साइबर अपराध से बचाने के लिए संवेदनशील जानकारी होना अति जरूरी है। उन्होंने कहा कि अगर आपको लगता है कि आपके साथ किसी प्रकार का साइबर अपराध हुआ तो शिकायत करने में देरी ना करें। कार्यक्रम में अकादमी के जिला न्यायवादी डॉ सोहन सिंह ने मुख्य अतिथि व प्रतिभागियों का स्वागत किया। अकादमी की जिला उप-न्यायवादी अनीता रानी ने कार्यक्रम की रूपरेखा प्रस्तुत की तथा मुख्य अतिथि व प्रतिभागियों का आभार व्यक्त किया।
इस अवसर पर अकादमी के पुलिस उप-महानिरीक्षक डॉ अरूण सिंह, अकादमी के जिला उप-न्यायवादी सुरेन्द्र सिंह भी उपस्थित रहे।