करनाल-लोकमंगल की कामना से करें पत्रकारिता : राजेश कुमार

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करनाल- पंचायत भवन के सभागार में मंगलवार को नारद जयंती के अवसर पर विश्व संवाद केंद्र की तरफ से कार्यक्रम का आयोजन किया गया। नारद स्मृति के रूप में आयोजित इस कार्यक्रम में विभिन्न वक्ताओं ने नारद के व्यक्तित्व और कृतित्व पर प्रकाश डाला, साथ ही हजारों वर्ष पूर्व नारद जी के द्वारा किए गए कार्यों को आज की पत्रकारिता से जोड़ा गया। इस दौरान वर्तमान समय में पत्रकारिता की उपयोगिता के बारे में वक्ताओं ने अपने विचारों को व्यक्त किया। कार्यक्रम में पिछले दिनों हुई रामोत्सव प्रतियोगिता में उत्कृष्ट रिपोर्टिंग करने वाले कुछ पत्रकारों को सम्मानित भी किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में बाल रोग विशेषज्ञ डा. सुमित सिंघल मौजूद रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता नगर निगम की निवर्तमान मेयर रेनू बाला गुप्ता ने की, जबकि मुख्य वक्ता के रूप में आरएसएस प्रचार विभाग के प्रांत प्रमुख राजेश कुमार मौजूद रहे। करनाल के सहायक आयुक्त प्रशिक्षु आईएएस अधिकारी योगेश सैनी ने विशिष्ट अतिथि के तौर पर शिरकत की। कार्यक्रम का शुभारंभ अतिथियों द्वारा नारद मुनि के चित्र पर माल्यार्पण तथा दीप प्रज्वलित कर किया गया। मुख्य अतिथि डॉ. सुमित सिंघल ने कहा कि देव ऋषि नारद ब्रह्मांड के प्रथम पत्रकार कहे जाते हैं। देव व मृत्यु लोक में घूमकर सूचनाओं का आदान प्रदान करते थे। ऐसी मान्यता है कि ज्येष्ठ माह की प्रतिपदा के दिन भगवान विष्णु भक्त नारद का जन्म हुआ था। ऐसे में इस दिन नारद जयंती मनाई जाती है। नारद जी को तीनों लोकों में वायु मार्ग द्वारा विचरण करने का वरदान प्राप्त है।

दो लोगों के बीच संवाद बनाना और दो विचारों के बीच मध्यस्थता कराना की पत्रकार का कर्तव्य : कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए  निवर्तमान मेयर रेनू बाला गुप्ता ने कहा कि पत्रकार का कर्तव्य होता है दो लोगों के बीच संवाद बनाना और दो विचारों के बीच मध्यस्थता कराना। नारद जी भी यही कार्य करते थे। वे देवताओं और असुरों में संवाद बनाने का कार्य करते थे। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार एक पत्रकार के माध्यम से हम समाचारों से अवगत होते हैं, उसी प्रकार समस्त भगवान, देवता, ऋषि-मुनियों के साथ-साथ समस्त संसार उनसे सूचनाएं प्राप्त करता था। रेणु बाला ने कहा कि पत्रकार का एक और कर्तव्य होता है ज्ञान का प्रचार प्रसार करना। नारद जी को भी वेदों के ज्ञान का प्रचार प्रसार करने के कारण वेदों के संदेशवाहक के रूप में जाना जाता है।

राष्ट्र और समाज का उद्धार करना ही पत्रकार का कर्तव्य  : प्रचार विभाग के प्रांत प्रमुख राजेश कुमार ने कहा कि पत्रकार सूचना देने जैसा श्रेष्ठ कार्य करने के लिए जाना जाता है, अपनी सूचना से राष्ट्र और समाज का उद्धार करना इनका कर्तव्य है। विश्व के प्रथम पत्रकार नारद जी रहे। वह लोकमंगल की कामना को लेकर चले थे। आज के दौर में भी पत्रकारों को लोक मंगल की कामना को लेकर चलना चाहिए। उन्होंने कहा कि पत्रकार जगत के सामने आज एक बड़ी गंभीर चुनौती है फेक न्यूज और भ्रमित करने वाली सूचनाओं को रोकना। एक गूगल से पूर्व का दौर था जब पत्रकार फील्ड में जाकर प्रत्यक्ष सूचनाओं इकट्ठा करता था और फिर उसे शोधित कर समाज के सामने रखता था और आज का दौर गूगल पत्रकारिता का है जिसमें सूचनाओं के भ्रम की काफी गुंजाइश है। ऐसे में हमें और ज्यादातर सतर्क रहने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि भविष्य के पत्रकारों को प्रशिक्षित करने के लिए विश्व संवाद केंद्र की ओर से प्रशिक्षण शिविर लगाए जाएंगे जिसमें उन्हें फिल्म, पत्रकारिता और अन्य विधाओं के बारे में विस्तार से बताया जाएगा। उन्होंने कहा कि नारद के रूप में ढल कर ही पत्रकारिता का विकास किया जा सकता है। खबरें वही देनी चाहिए जो समाज के लिए लाभप्रद हों।

पत्रकारिता में लकीर के फकीर न बनें : कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि व सहायक आयुक्त प्रशिक्षु आईएएस अधिकारी योगेश सैनी ने कहा कि नारद जी पत्रकारिता के आदर्श हैं। आज के दौर में पत्रकारिता को सच पर ही आधारित होना चाहिए। उन्होंने कहा पत्रकारिता में लकीर के फकीर न बनें। किसी भी लोभ लालच में सच कहने वाले पत्रकार नहीं है। वर्तमान में सच्ची पत्रकारिता दुर्लभ होती जा रही है। पत्रकारों को चाहिए कि वह अपनी कलम पर दाग न लगने दें। पूर्व के पत्रकारों ने इस परंपरा को निभाया है, नारद जयंती सच्चे पत्रकारों को प्रणाम करने का दिन है। कार्यक्रम के समापन पर पिछले दिनों हुई रामोत्सव प्रतियोगिता में भाग लेने वाले पत्रकारों को सम्मानित किया गया। कार्यक्रम का संचालन शैलेन्द्र जैन तथा आभार प्रदर्शन पवन शर्मा ने किया।