Karnal, करनाल – संत शिरोमणि गुरू रविदास जी की 642वीं जयंती कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज में मनाई गई

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करनाल – संत शिरोमणि गुरू रविदास जी महाराज समानता, एकता व सामाजिक सौहार्द की शिक्षा देने वाले महान योगी व परम ज्ञानी थे, जिन्होंने समाज को ऊंच-नीच का भेदभाव मिटाकर आगे बढऩे के लिए प्रेरित किया। घरौंडा के विधायक एवं हैफेड के चेयरमैन हरविन्द्र कल्याण मंगलवार को कल्पना चावला राजकीय मेडिकल कॉलेज में जिला प्रशासन द्वारा आयोजित 642वें संत शिरोमणि गुरू रविदास की जयंती एवं प्रकाश पर्व के मौके पर बतौर मुख्यातिथि बोल रहे थे। विधायक व सभी अतिथियों ने कार्यक्रम में पहुंचकर गुरू जी को नमन किया तथा दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम की शुरूआत की।
विधायक ने कहा कि संत गुरू रविदास जी ने मानव धर्म को सबसे बड़ा धर्म बताया है, हमें उनसे प्रेरणा लेते हुए जाति-पाति का भेदभाव नहीं करना चाहिए और कमजोर वर्ग के कल्याण को ही अपना धर्म समझना चाहिए। उन्होंने कहा कि संत रविदास जी ने अपनी वाणी में कहा कि समाज ठीक रास्ते पर आगे बढ़े इसके लिए जरूरी है कि समाज संगठित हो और समाज में भेदभाव न हो। उन्होंने कहा कि समाज में लोगों को राजनीतिक व सामाजिक स्वार्थ के लिए बांटने का काम किया। उन्होंने कहा कि सभी लोगों को अपने बच्चों को शिक्षित करें और संस्कारवान बनाएं तभी समाज आगे बढ़ेगा।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने प्रदेश में संतों की जयंती को सरकारी तौर पर मनाकर एक उपकार का काम किया है। सरकार द्वारा संतों की जयंती मनाने पर युवा पीढ़ी को संतों की वाणी से प्रेरणा मिलती है जिससे आस्था को भी बढ़ावा मिलता है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल भी गुरू रविदास के बताए हुए मार्ग पर चलकर काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा आज हमें संकल्प लेना है कि मेहनत और जिम्मेदारी से काम करके समाज को नई दिशा देनी होगी जिससे राष्ट्र आगे बढ़ेगा।
करनाल की मेयर रेणू बाला गुप्ता ने कहा कि संत रविदास जी ऐसे संत थे जिन्होंने समाज को मानवता का संदेश दिया, छुआछात का उन्होंने डटकर विरोध किया। उन्होंने कहा कि संत किसी एक जाति विशेष का नहीं है बल्कि समस्त समाज की भलाई के लिए पैदा होते हैं। संत रविदास जी ने पूरा जीवन गरीब, जरूरतमंदों की सेवा की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने समाज को जोडऩे और अपने संतों के प्रति श्रद्धा रखने के लिए संतों की जयंती को सरकारी तौर पर मनाने का निर्णय लिया, मुख्यमंत्री का यह सराहनीय प्रयास है। इस मौके पर उन्होंने संत रविदास जी की जयंती पर सभी को बधाई दी।
उपायुक्त विनय प्रताप सिंह ने कहा कि 642 वर्ष पहले एक ऐसे संत शिरोमणि ने धरती पर अवतार लिया जिन्होंने अपनी वाणी व दोहों के माध्यम से समाज को एकसूत्र में बांधने का काम किया उनका नाम संत शिरोमणि रविदास जी महाराज है। आज पूरी दुनिया में उनकी जयंती को हर्षोल्लास से मनाया जा रहा है। उन्होंने भक्ति आंदोलन में बढ़चढ़ भाग लिया और उस समय समाज में फैली कुरीतियों के खिलाफ समाज को जागरूक किया। उपायुक्त ने एक दोहे के माध्यम से कहा कि रविदास जी ने अपने दोहे के माध्यम से समाज को दिशा देने का काम किया च्च्जात जात में जात है जो केलन में पात, रविदास न मानुष जुड़ सके जो लो जात कुजात।ज्ज् उन्होंने इस कार्यक्रम में आए सभी अतिथियों का स्वागत किया और संत रविदास जयंती पर सभी को बधाई भी दी।
वक्ता के रूप में कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय से आए प्रोफेसर डॉ. हरिओम फुलिया ने कहा कि संत रविदास जी ने अपनी वाणी और दोहों के माध्यम से समाज के प्रत्येक पक्ष को छुआ है जो उन्होंने सैंकड़ों वर्ष पहले कहा था आज भी उनकी वाणी प्रासंगिक है। उन्होंने समाज को वाणी के माध्यम से सचेत किया। उन्होंने अपने दोहों के माध्यम से महिला शिक्षा और उनके सम्मान पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि संत रविदास जी ने पाखंडों और कर्मकांडों का विरोध करके निर्मल भक्ति करने की प्रेरणा दी। उन्होंने भगवान को बाहर नहीं अपने अंदर खोजने की नसीहत दी। गुरू जी ने कहा था मन चंगा तो कटौती में गंगा। रविदास जी ने सैंकड़ों वर्ष पहले भी गरीब, असहाय, कमजोर, दलित व महिला को सम्मान देने की बात अपनी वाणी के माध्यम से समाज के सामने रखी। उनकी वाणी सदियों तक प्रासंगिक रहेगी। च्च्ऐसा चाहूं राज मैं, जहां मिले सबन का अन्न, छोट बड़े सब बसे, रैदास रहे प्रसन्न।ज्ज् उन्होंने ऐसे राज्य की कल्पना की थी जहां न कोई भूखा रहे तथा सबको खाने के लिए अन्न मिले।
इस अवसर पर मुख्य अतिथि द्वारा निबंध प्रतियोगिता में राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय दरड़ के छात्र रोहित के प्रथम स्थान प्राप्त करने पर 5100 रुपये, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय बजीदा की छात्रा को द्वितीय स्थान प्राप्त करने पर 3100 रुपये, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय करनाल के छात्र ऋषिकेश को तृतीय स्थान प्राप्त करने पर 2100 रुपये नकद पुरस्कार के रूप में दिए गए तथा भाषण प्रतियोगिता में राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय करनाल के छात्र रवि को प्रथम स्थान प्राप्त करने पर 5100 रुपये, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय दरड़ के छात्र रघुवंश को द्वितीय स्थान प्राप्त करने पर 3100 रुपये, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सैक्टर 13 करनाल की छात्रा ममता को तृतीय स्थान प्राप्त करने पर 2100 रुपये नकद पुरस्कार दिया गया।