नैनीताल – पहाड़ी फलों पर कोरोना संकट

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रिपोर्ट – कान्ता पाल/ नैनीताल – केंद्र और राज्य सरकार द्वारा कोरोना संक्रमण की वैश्विक महामारी के कारण लागू किए गए लॉक डाउन का असर नैनीताल के पहाड़ी स्वादिष्ट और सेहत से भरपूर फलों के विक्रेताओं के साथ साथ कास्तकारों भी पड़ने लगा है।

गर्मियों के मौसम में फलों का स्वाद सभी को खूब भाता है। ऐसे में स्वादिष्ट और रसीले पहाड़ी फल लोगों का जायका बढ़ाने के साथ सेहत की दृष्टि से भी फायदेमंद है लेकिन नैनीताल के फल पट्टी कहे जाने वाले क्षेत्र रामगढ़, मुक्तेश्वर, हली हरतपा के कास्तकारों सहित फल व्यवसाय और मंडी से जुड़े लोगों पर कोरोना संकट काल के चलते रोजी रोटी संकट पैदा हो गया है नैनीताल के भवाली में फल मंडी से ही मई जून के माह में लाखों रुपये के आड़ू, खुमानी, पुलम, और काफल दिल्ली, मुंबई सहित देश के विभिन्न राज्यों में सप्लाई किए जाते थे। तो वही भवाली में भी बाहरी राज्यो से आने वाले पर्यटक भी अपने साथ जमकर पहाड़ी फलों की खरीददारी करते थे। जिससे साल भर इनकी रोजी रोटी चलती थी। लेकिन साल भर हाड़तोड़ मेहनत कर फ़ल बेचकर अपनी दो जून की रोजी रोटी का जुगाड़ करने वाले कास्तकार और फल व्यवसाय से जुड़े लोगों के सामने फलों के उचित दाम व ख़रीददार न मिलने से रोजी रोटी संकट पैदा हो गया है। बाहरी राज्यों से भी फलों के खरीदार नही आने से काश्तकारों के साथ दुकानों में भी फल खराब होने की चिंता सताने लगी है। वही बाहरी राज्यों में फल सप्लाई करने वाले मंडी वालो का कहना है कि सप्लाई न होने के चलते वे कास्तकारों से कम फ़ल खरीद रहे है।