करनाल – सर्जिकल स्ट्राइक दिवस हमारे देश के लिए गौरव – आयुक्त पंकज यादव

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करनाल – करनाल मंडल के आयुक्त पंकज यादव ने कहा कि सर्जिकल स्ट्राइक हमारे देश के लिए एक गौरव का प्रतीक है। देश के हर नागरिक को ऐसे गौरवशाली उत्सव को मनाना चाहिए इससे सरहद पर खड़े सैनिकों के मनोबल को बढ़ावा मिलता है, जिनकी बदौलत आज हम देश में खुली हवा में सांस ले रहे हैं।
आयुक्त शनिवार को पंचायत भवन के सभागार में सर्जिकल स्ट्राइक दिवस के उपलक्ष्य के आयोजिक कार्यक्रम में बोल रहे थे।  यह कार्यक्रम सूचना, जन सम्पर्क एवं भाषा विभाग एवं प्रशासन के सहयोग से आयोजित किया गया। कार्यक्रम में उन्होंने सर्जिकल स्ट्राइक पर सूचना, जन सम्पर्क एवं भाषा विभाग द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी व लघु फिल्म का अवलोकन किया। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि हमारे सैनिक देश का सम्मान हैं, हर नागरिक को सैनिकों का सम्मान करना चाहिए। यह सैनिक अपने जीवन को न्यौछावर करने के लिए हरसमय तत्पर रहते हैं, तिरंगे का सम्मान धूमिल न हो उन्हें हरसमय इसकी चिंता रहती है, ऐसे देशभक्तों को इस मौके पर सलाम। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार सैनिकों के सम्मान के प्रति कृतसंकल्प है। सरकार की ओर से देश की रक्षा व युद्घ के दौरान शहीद हुए सेना व अर्ध सैनिक बलों के जवानों के आश्रितों को 50 लाख रूपये की अनुग्रह राशि दी जा रही है।
आयुक्त ने बताया कि सैनिकों के सम्मान में सरकार द्वारा दी जाने वाली बहुत सी सुविधाओं में वीरता पुरस्कार प्राप्त सैनिकों को राज्य परिवहन की सामान्य बसों में मुफ्त यात्रा सुविधा दी जा रही है। हरियाणा से सेना में कमीशन पाने वाले अधिकारियों को उनके कुशल प्रशिक्षण के उपरांत 1 लाख रूपये की वित्तीय सहायता दी जाती है। राष्ट्रीय मिल्ट्री कॉलेज देहरादून में पढ़ रहे हरियाणा के छात्रों को दी जाने वाली वार्षिक छात्रवृत्ति की राशि बढ़ाकर 50 हजार रूपये प्रति छात्र कर दी है। युद्घ, आतंकवाद तथा अन्य घटना के दौरान घायल हुए अर्ध सैनिक बलों के जवानो के लिए अनुग्रह अनुदान राशि नि:शक्तता के आधार पर बढ़ाकर 15 लाख, 25 लाख व 35 लाख रूपये कर दी है।
उन्होंने बताया कि आज ही के दिन 2 वर्ष पहले देश की सेना ने जिस तरह उच्च योजनाबद्घ तरीके से पी.ओ.के. में दाखिल होकर मिलिटेंट के लॉंच पैड को सर्जिकल स्ट्राइक के जरिए खत्म किया था, वह अपने-आप में एक अनूठा उदहारण और देश के वीर सैनिको के अदम्य साहस और बहादुरी से किया गया कार्य था। इसके पश्चात मिलिटेंट्ïस ने अपने लॉंच पैड सीमाओं पर नहीं लगाए और वे पीछे हटकर काफी दूर तक चले गए थे। वीर सैनिकों के इस कारनामे और उनको नमन करने के लिए आज देशभर में सर्जिकल स्ट्राइक दिवस बड़े उत्साह के साथ मनाया जा रहा है।
आयुक्त ने कहा कि वीर सैनिक सीमाओं पर हमारी रक्षा करते हैं। हमे भी चाहिए कि हम देश के भीतर उनकी समस्याओं पर प्राथमिकता से गौर करके उनका समाधान करें। उन्होंने जिला प्रशासन के अधिकारियों से कहा कि सरकार की ओर से सैनिको के सम्मान के लिए जो भी सुविधाएं दी जा रही हैं, उन्हे समय पर और अच्छे से लागू करें।
इस अवसर पर जिला उपायुक्त डॉ. आदित्य दहिया ने अपने सम्बोधन में कहा कि आज के दिन को पराक्रम पर्व की संज्ञा दी गई है। यह दिन क्यों मनाया जाता है, इस बात का खुलाया करते हुए उन्होंने सर्जिकल स्ट्राइक पर लम्बी-चौड़ी तकरीर की। उन्होंने बताया कि सर्जिकल स्ट्राइक से 10 दिन पूर्व दुशमन की सेना व मिलिटेंट्ïस ने धोखे से हमारे सैनिको के कैम्प पर हमला कर 18 सैनिकों को मार दिया था, उसका बदला लेने के लिए बड़े पैमाने पर योजना बनाई गई, जिसे सर्जिकल स्ट्राइक का नाम दिया गया। योजना के तहत मध्य रात्रि को हमारे सैनिकों ने पी.ओ.के. के कूपवाड़ा सैक्टर में 500 मीटर से 2 किलोमीटर की दूरी तक जाकर 38 मिलिटेंट्ïस और उनकी सहायता करने वाले 2 पाकिस्तानी सैनिको को ढेर कर दिया था। उनके द्वारा बनाए गए सभी लॉंच पैड भी नेस्तनाबूद कर दिए थे। उस दिन के बाद मिलिटेंट्ïस की सीमा के पास लॉंच पैड बनाने की हिम्मत नही हुई। इस घटना के बाद पाकिस्तानी मीडिया ने शर्मिन्दगी से बचने के लिए इस घटना को झूठी करार दिया, जबकि विदेशी मीडिया ने इस सत्य बताया और कहा कि पाकिस्तान अपने ही लोगों की बदनामी कर रहा है। उपायुक्त ने बोलते हुए देश की रक्षा के लिए मर-मिटने वाले वीर सैनिकों की शहादत को सलाम किया।